चौथा अंतर्राष्ट्रीय विज़न जीरो सम्मेलन: डिजिटलीकरण और सस्टेनेबिलिटी के एकीकरण पर चर्चा

कानपुर : दिल्ली अंतर्राष्ट्रीय सामाजिक सुरक्षा संघ (ISSA), DGUV जर्मनी, जर्मन दूतावास, नई दिल्ली एवं OSH अकादमी जैसे भागीदारों के साथ मिलकर, इंडो जर्मन कॉपरेशन फॉर सेफ्टी हेल्थ एंड वेलबिंग (आई जी सी एस एच डब्ल्यू) नोएडा द्वारा विज़न जीरो की परिकल्पना पर डिजिटलीकरण और ससटेनिबिलिटी के एकीकरण" विषय पर 8 अक्टूबर 2025 को एक दिवसीय चतुर्थ अंतर्राष्ट्रीय विज़न जीरो सम्मेलन सिल्वर ओक, इंडिया हैबिटेट सेंटर (IHC), नई दिल्ली में सफलता पूर्वक सम्पन्न हुआ।
इस सम्मेलन में "विज़न जीरो प्रणाली अपनाकर वैश्विक स्तर पर दुर्घटनाओं की रोकथाम और सुरक्षा उपायों को सुधारने के लिए ठोस कदम उठाने पर जोर दिया गया। सम्मेलन का मुख्य उद्देश्य विज़न जीरो प्रणाली अपनाकर पूरे विश्व में सुरक्षित एवं दुर्घटना मुक्त कार्य वातावरण तैयार करना है जिससे भारत एवं अन्य देशों में पुनः भोपाल त्रासदी जैसी दुर्घटनाओ से बचा जा सके एवं शून्य दुर्घटना, शून्य बीमारी एवं सम्पूर्ण खुशहाली के लक्ष्य को प्राप्त किया जा सके । सम्मेलन में देश एवं विदेश के प्रतिष्ठित सुरक्षा विशेषज्ञ, नीति निर्माता, गैर-सरकारी एवं सरकारी संगठनो एवं अन्य प्रमुख शैक्षिक संस्थाओं के 250 से अधिक प्रतिनिधियों ने भाग लिया।
सम्मेलन के उद्घाटन सत्र में प्रोफेसर कार्ल हॅज नोएटेल, अध्यक्ष ISSA कंस्ट्रक्शन, जर्मनी एवं डॉ अवनीश सिंह, पूर्व महानिदेशक, डी जी फसली, श्रम एवं रोजगार मंत्रालय, भारत सरकार एवं अन्तराष्ट्रीय समन्वयक विज़न ज़ीरो रेटिंग सिस्टम, भारत ने विजन जीरो अवधारणा का इतिहास बताया तथा जोर देते हुए कहा कि शिक्षा और जन जागरूकता अभियानों के माध्यम से विज़न जीरो प्रणाली अपनाकर लोगों को सुरक्षित व्यवहार के प्रति प्रेरित किया जा सकता है।
सम्मेलन के अंतिम सत्र में चतुर्थ विज़न जीरो रेटिंग प्रस्तुति समारोह आयोजित किया गया जिसमें विज़न ज़ीरो प्रणाली अपनाकर सुरक्षा और स्थिरता के लिए प्रतिबद्ध 49 उद्योगों को शील्ड एवं प्रमाण पत्र प्रदान कर सम्मानित किया गया। कार्यक्रम में अर्चिता शर्मा डॉ. बृज मोहन, करुणेश श्रीवास्तव, अनिल शाही, अजीत चौबे, श्रीमती पल्लवी सिंह, डॉ विशेष सिंह, अरुण करन, प्रियांशु लखेरा, अर्चित श्रीवास्तव मनोज
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